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एक्स रिपोर्टर न्यूज़ । राजनांदगांव

शासकीय मेडिकल कॉलेज अस्पताल के प्रभारी अधीक्षक डॉ प्रदीप बेक का हाल ही में अधिष्ठाता (डीन) पद पर प्रमोशन कर जगदलपुर मेडिकल कॉलेज में ट्रांसफर कर दिया गया है। आपको यह जानकर हैरानी होगी कि डॉ. बेक को कोविड के पहले बिलासपुर में स्थानांतरित कर दिया गया था। लेकिन डॉ. बेक गए नहीं और राजनांदगांव में ही अटैच होकर बतौर प्रभारी अधीक्षक का पद संभालते रहे। जबकि उनका पद विभाग अध्यक्ष एवं मेडिसिन प्रभारी के तौर पर स्वीकृत किया गया था।

Health reporter@राजनांदगांव: मेडिकल कॉलेज अस्पताल में भर्ती घोटाला, अधीक्षक की मनमानी, नियम विरुद्ध तरीके से थोक में रख लिए दैवेभो कर्मी, वेतन देने ऑटोनॉमस फंड में लाखों रु. की सेंधमारी…

इस बीच वित्तीय नियमों के विरुद्ध उनकी तनख्वाह बिलासपुर से ही आहरित होती रही है। अटैचमेंट के दौरान ही डॉ. बेक ने दैनिक वेतन भोगी कर्मियों की भर्ती में बड़ी गड़बड़ी की और भी कई मामलों में उनके नाम सामने आते रहे है। बावजूद इसके कार्रवाई करने के बजाय शासन ने डॉ. बेक को प्रमोशन दे दिया। अभी भी डॉ. बेक की यहाँ से जाने की मंशा नहीं लग रही है। तभी तो नए अधीक्षक के आने के बावजूद वे चार्ज देने को तैयार नहीं दिख रहे हैं।

Health reporter@राजनांदगांव: मेडिकल कॉलेज अस्पताल भर्ती घोटाला; भृत्य, प्लंबर और लॉन्ड्रीमेन तक तो ठीक यहां तो अधीक्षक ने रेडियोग्राफर, लैब टेक्नीशियन, फार्मासिस्ट पदों पर दैवेभो को दे रखी है बैक डोर एंट्री…

दोनों जगह से सेवा पुस्तिका गायब, मामले की हुई शिकायत

बिलासपुर में पद के विरुद्ध वेतन आहरित करने के बावजूद राजनांदगांव में अधीक्षक का पद संभालने वाले मामले की शिकायत चिकित्सा शिक्षा मुख्य सचिव से की गई है। शिकायत में बताया गया कि डॉ. बेक की पदस्थापना बिना पद के पदोन्नति दिनांक से राजनांदगांव में प्राध्यापक मेडिसिन के पद पर की गई है। बिलासपुर में स्वीकृत पद के विरुद्ध वेतन आहरित किया जा रहा है इसलिए वास्तव में कोई भी नियंत्रक अधिकारी नहीं है। शिकायतकर्ता ने डॉ. बेक को बिलासपुर में ही पदस्थ करने की मांग की है। मामले की तहकीकात में यह भी पता चला कि बिलासपुर और राजनांदगांव दोनों ही जगह डॉ. बेक की सेवा पुस्तिका गायब है। यह वही सेवा पुस्तिका होती है जिसमें किसी भी अधिकारी के कार्य प्रणाली, इंक्रीमेंट, अवकाश आदि आवश्यक गतिविधियों को दर्ज किया जाता है।

सच: तबादला आदेश में अधीक्षक प्रभार का जिक्र नहीं

बीते 4 अक्टूबर को डीएमई द्वारा जारी तबादला प्लस प्रमोशन सूची में डॉ. प्रदीप बेक के नाम के सामने प्रभारी अधीक्षक नहीं बल्कि विभागाध्यक्ष एवं मेडिसिन प्रभारी लिखा गया है। यानी डॉ. बेक अनधिकृत रूप से अधीक्षक का प्रभार संभाल रहे है और भर्ती, खरीदी समेत वे सभी कार्य कर रहे हैं जो अधिकृत अधीक्षक को करना चाहिए था। शासन को इस मामले को संज्ञान में लेकर जांच और कार्रवाई करने की जरूरत है।

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By Karnkant Shrivastava

B.J.M.C. Chief Editor Mo. No. 9752886730

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