राजनांदगांव। जिलाधीश के निर्देशानुसार जिले में दिनांक 20 जून से 05 जुलाई तक गहन डायरिया नियंत्रण पखवाड़ा मनाया जायेगा। जिसके अंतर्गत 0 से 05 वर्ष तक बच्चे लक्षित है। कार्यक्रम के अंतर्गत जिले के समस्त स्वास्थ्य केन्द्रो में ओ.आर.एस. कॉर्नर की स्थापना की जावेगी। एवं मितानिन द्वारा घर-घर भ्रमण कर 0 से 05 वर्ष के बच्चों वाले घरों में ओ.आर.एस. पैकेट का वितरण, ओ.आर.एस. घोल बनाने की विधि प्रदर्शन तथा हाथ धोने की विधि बताया जावेगा। साथ ही शिशुवती माताओ को बच्चो में दस्त के दौरान मां का दूध एवं उपरी आहार देने की सलाह भी दिया जाएगी।
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. ए.के. बसोड़ ने बताया कि 0 से 05 वर्ष के बच्चों में डायरिया प्रबंधन में ओ.आर.एस. एवं जिंक की महत्ता विशेष है। डायरिया नियंत्रण पखवाड़ा अंतर्गत समस्त खंड चिकित्सा अधिकारियों को यह निर्देश दिया गया है, कि सभी स्वास्थ्य केन्द्रों की पानी टंकियों की साफ-सफाई अनिवार्य रूपसे की जावें एवं ओ.आर.एस.-जिंक की उपयोगिता पर दीवार लेखन एवं नारे लेखन की जावें। साथ ही मितानिनों के द्वारा डायरिया प्रकरणों के पहचान पर ए.एन.एम. द्वारा डायरिया के सप्रंबधन, उपचार तथा काउसलिंग पर विशेष गतिविधियां की जावें। काउसलिंग सत्रों में ओ.आर.एस.-ंिजंक की महत्ता, दस्त होने पर भी मां की दूध की आश्यकता, हाथ धोने की विधि तथा शौच हेतु टॉयलेट की उपयोग की जानकारी भी दी जावें। पोषण पुर्नवाश केन्द्रो में भर्ती कुपोषित बच्चों जिन्हे डायरिया हो उनका प्रंबधन भी किया जावें। ग्रामीण स्तर पर स्कूलों, आउटरीच सत्रों, व्ही.एच..एस.एनडी. और आंगनवाड़ी केन्द्रो में भोजन के पहले एवं शौच के बाद साबून से हाथ धोने हेतु प्रोत्साहित किया जावें। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा महिला एवं बाल विकास विभाग एवं आई.एम.ए. द्वारा समन्वय स्थापित कर कार्यक्रम को सफल बनाने हेतु आव्हान किया गया है।
