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एक्स रिपोर्टर न्यूज़ । राजनांदगांव

स्वास्थ्य विभाग के बेपरवार रवैया की वजह से शहर सहित जिले भर में झोलाछाप डॉक्टरों की चांदी हो चुकी है। पहले तक ये डॉक्टर सिर्फ हेल्थ चेकअप कर रहे थे, अब इन क्लीनिक में दवा और इंजेक्शन के साथ सभी मर्ज का इलाज हो रहा है। मामला ज्यादा दूर का नहीं जिला मुख्यालय से लगे ग्राम गठुला का है। बीते कई वर्षों से गठुला झोलाछाप डॉक्टरों का गढ़ बना हुआ है। इन डॉक्टरों के खिलाफ लगतार शिकायत मिल रही है लेकिन कार्रवाई का ग्राफ हमेशा शून्य ही रहा है। हाल ही में गठुला में संचालित साक्षी क्लिनिक के खिलाफ स्वास्थ्य विभाग में शिकायत की गई थी। शिकायतकर्ता ने बताया कि भोपाल की डिग्री के नाम पर डॉक्टर एमडी साहू अपना धंधा चमका रहा है। लाइसेंस के बगैर गैर कानूनी रूप से लोगों का इलाज और दवाई विक्रय कर रहा है। पहले तो स्वास्थ्य विभाग के जिम्मेदार अधिकारियों ने शिकायती पत्र को किनारे कर रखा था। लेकिन जिला प्रशासन के आला अधिकारियों के निर्देश पर जांच की कार्रवाई पूरी की गई। जांच में संबंधित डॉक्टर के पास किसी तरह का लाइसेंस नहीं मिला। नियम तो यही कहता है कि ऐसे मामलों में तत्काल एक्शन लेकर संबंधित क्लिनिक को सील बंद किया जाए और डॉक्टर के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए। लेकिन स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी तो अपनी मर्जी के मालिक है। दो दिन पहले कार्रवाई के नाम पर स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने क्लीनिक के सामने लगे बोर्ड को उतरवा दिया और दरवाजा बंद होने का फोटो खिंचवाकर मंगवा लिया। मामले की हकीकत जानने के लिए एक्स रिपोर्टर की टीम ने मंगलवार को गठुला का दौरा किया। देखा कि क्लीनिक के सामने से बोर्ड तो हटा दिया गया है, लेकिन अंदर डॉक्टर की दुकान चालू है। संबंधित डॉक्टर से जब हमने पूछा कि स्वास्थ्य विभाग ने तो कार्रवाई कर क्लीनिक बंद करवाया था तो फिर दोबारा क्लिनिक कैसे खुल गई? डॉक्टर ने बिना किसी टालमटोल के साफ़ कहा कि जैसा अफसर ने कहा था उसने वैसा ही किया है। इस ढुलमुल कार्रवाई की वजह जानने के लिए हमने सीएमएचओ डॉ. ऐके बंसोड़ से संपर्क किया लेकिन उन्होंने फोन रिसीव नहीं किया। दवा विक्रय और ड्रग लाइसेंस के संबंध में पूछने पर संबंधित डॉक्टर ने कुछ अलग ही नियम का हवाला दे डाला। इस संबंध में ड्रग विभाग के अधिकारी संजय झाड़ेकर से चर्चा की गई तो उन्होंने मामले को संज्ञान में लेने की बात कही। इस पूरे घटनाक्रम को लेकर गंभीर सवाल यह है कि आखिर स्वास्थ्य विभाग के अफसर किसके कहने या किस वजह से उक्त क्लिनिक और संबंधित डॉक्टर का संरक्षण कर रहे हैं। अब आगे देखना यह है कि उजागर होने के बाद प्रशासन और विभाग इस मामले में और क्या एक्शन लेते है।

नोट:- मंगलवार को खींची गई फोटो टाइम एंड डेट के साथ है।

मामले को संज्ञान में लिया जाएगा: कलेक्टर

हमसे चर्चा में कलेक्टर संजय अग्रवाल ने कहा कि मामला गंभीर है। संज्ञान में लेकर इस मामले की जल्द ही जांच करवाई जाएगी।

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