नितिन कुल्हाड़े की रिपोर्ट:-
रायपुर। टी एस बाबा ने दिल्ली से रायपुर लौटकर एयरपोर्ट पर मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि पार्टी आलाकमान से इस मुद्दे पर बातचीत हो चुकी है और आलाकमान ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है मैंने अपनी पूरी बात उन्हे बता दी है अब हमें उनके निर्णय का इंतजार रहेगा ।
अब एक बात तो छत्तीसगढ राज्य की जनता को समझ आ चुकी है की ढाई ढाई साल के फार्मूला बाली बात बिल्कुल सही है जिस तरीके से विगत दिनो से दिल्ली मे बाबा सक्रिय है और भूपेश बघेल को दिल्ली जाना पड़ा और शक्ति प्रदर्शन की नौबत आई इससे इस बात का अंदाजा लगाया जा सकता है कि मामला वाकई में सीरियस है 15 साल बाद छत्तीसगढ़ में कांग्रेसी की सत्ता वापसी हुई जिसमें दो प्रमुख चेहरे टीएस बाबा और भूपेश बघेल रहे जिन्होंने छत्तीसगढ़ में कांग्रेस की सत्ता वापसी के लिए जी तोड़ मेहनत की हमने पहले यह भी देखा इस विधानसभा चुनाव में बहुमत हासिल करने के बाद भी मुख्यमंत्री तय करने में आलाकमान को मशक्कत करनी पड़ी थी शायद उसी मशक्कत के चलते ही ढाई ढाई साल का फार्मूला फिक्स किया गया रहा होगा जिसका परिणाम आज देखने को मिला क्योंकि छत्तीसगढ़ की राजनीति में में टी एस बाबा और भूपेश बघेल दोनों का कद बड़ा है।
राहुल गांधी का छत्तीसगढ़ दौरा से इसका कोई रास्ता निकल सकता है इसी कारण राहुल गांधी ने छत्तीसगढ़ दौरे करके निर्णय लेने के बारे में सोचा होगा वह छत्तीसगढ़ आकर उत्तर छत्तीसगढ़ मध्य छत्तीसगढ़ बस्तर का भी भ्रमण करेंगे यहां हुए विकास कार्यों को देखेंगे और समीक्षा करेंगे कि जो कार्य छत्तीसगढ़ में मुख्यमंत्री रहते किए गए हैं उस की जमीनी हकीकत कितनी है और यहां के कार्यकर्ताओं मंत्री विधायकों से बात कर शायद इस पर कोई फैसला ले।
