राजनांदगांव। बसंतपुर स्थित जिला अस्पताल में डायलिसिस सेंटर की शुरुआत हुए सप्ताह नहीं हुआ है और यहां कार्यरत स्टाफ कर्मचारियों का गैर जिम्मेदाराना रवैया सामने आने लगा है। गुरुवार दोपहर को सेंटर के बाहर व्हील चेयर पर एक मरीज मिला, जिसने बताया कि वह बीते 3 दिनों से डायलिसिस कराने के लिए सेंटर का चक्कर काट रहा है लेकिन स्टाफ कर्मचारी उसके डायलिसिस ट्रीटमेंट के लिए ध्यान ही नहीं दे रहे हैं ऐसे में वह काफी परेशान है।
अंबागढ़ चौकी से आए मरीज बलीराम मेश्राम ने बताया कि उसे किडनी की गंभीर बीमारी है। ऐसे में उसके लिए डायलिसिस काफी जरूरी हो चला है। इससे पहले तक वह भिलाई में जाकर डायलिसिस ट्रीटमेंट करवाता था। जिला अस्पताल में डायलिसिस सेंटर खुलने की खबर पाकर वह राजनांदगांव पहुंचा। यहां पहुंचने पर डायलिसिस सेंटर के कर्मचारियों ने उसे जरूरी स्वास्थ्य जांच कराने की सलाह दी और इसके बाद डायलिसिस करने की बात कही। मरीज ने सलाह अनुसार जांच करवाई और रिपोर्ट सेंटर में सबमिट कर दिया। इसके बावजूद स्टाफ कर्मचारी उसे तरह-तरह की वजह बताकर डायलिसिस से इनकार करते रहे। ऐसा करते करते 3 दिन गुजर गए और मरीज का डायलिसिस नहीं हो पाया। इमरजेंसी में भी डायलिसिस नहीं हो पाने के कारण मरीज के पैरों में सूजन आ गई और वह घबराने भी लगा।
एक्स रिपोर्टर को परेशानी बताते हुए रो पड़ा मरीज
इत्तेफाक से एक्स रिपोर्टर की टीम गुरुवार को जिला अस्पताल पहुंची थी। इसी दौरान बलीराम से मुलाकात हुई। अपनी परेशानी बताते हुए मरीज रो पड़ा। मरीज की हालत काफी गंभीर थी इस संबंध में एक्स रिपोर्टर ने स्टाफ कर्मचारियों से चर्चा की और उनसे सवाल किया कि अभी तक मरीज को ट्रीटमेंट क्यों नहीं दिया गया जबकि सेंटर में पर्याप्त बेड है। स्टाफ कर्मचारियों के पास कोई जवाब नहीं था। इसके बाद स्टाफ कर्मचारी हरकत में आए और मरीज का डायलिसिस ट्रीटमेंट शुरू किया।
